Operation Sindoor- 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए दिल दहला देने वाले आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। आतंकियों ने निहत्थे पर्यटकों को निशाना बनाया, उनके धर्म पूछकर गोलियां बरसाईं और 26 मासूमों की जान ले ली। हमले के बाद आतंकियों ने पीड़ितों की पत्नियों और बच्चों से तंज कसते हुए कहा, “जाओ, मोदी को बोल देना!” ये शब्द न सिर्फ पीड़ितों के जख्मों पर नमक छिड़कने वाले थे, बल्कि पूरे हिंदुस्तान के लिए एक चुनौती थे। लेकिन नया भारत अब चुप नहीं रहता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इन शब्दों को सुना और 7 मई 2025 को भारत ने पाकिस्तान में आतंकी ठिकानों पर जोरदार हमले करके दुनिया को बता दिया कि भारत अब सिर्फ निंदा नहीं, बल्कि करारा जवाब देता है। सोशल मीडिया पर #JaoModi और #OperationSindoor जैसे ट्रेंड्स ने दिखाया कि देश की जनता अपने पीएम और सेना के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है। आइए, इस पूरी घटना को विस्तार से समझते हैं।
पहलगाम हमले की दर्दनाक कहानी
पहलगाम, जिसे धरती का स्वर्ग कहा जाता है, उस दिन नरक में तब्दील हो गया जब आतंकियों ने बैसरन घाटी में पर्यटकों पर हमला बोला। ये हमला कोई अचानक की घटना नहीं थी, बल्कि पूरी तरह से सुनियोजित था। खुफिया एजेंसियों के मुताबिक, इस हमले में पाकिस्तान समर्थित आतंकी संगठन ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ (TRF) और लश्कर-ए-तैयबा का हाथ था। आतंकियों ने पर्यटकों से उनका धर्म पूछा और हिंदुओं को चुन-चुनकर निशाना बनाया। इस हमले में 26 लोग शहीद हुए, जिनमें भारतीय नौसेना के लेफ्टिनेंट विनय नरवाल और खुफिया ब्यूरो के अधिकारी मनीष रंजन भी शामिल थे।
एक चश्मदीद, आशान्या द्विवेदी, जिनके पति शुभम द्विवेदी को आतंकियों ने गोली मार दी, ने बताया, “आतंकियों ने हमसे धर्म पूछा। जैसे ही शुभम ने कहा कि हम हिंदू हैं, उन्होंने गोली चला दी। फिर मुझसे कहा कि जाओ, अपने पीएम मोदी को बता देना कि हमने क्या किया।” इस घटना ने पूरे देश में गुस्से की लहर दौड़ा दी। सोशल मीडिया पर लोग आशान्या की हिम्मत की तारीफ कर रहे थे, जिन्होंने अपने पति को शहीद का दर्जा देने की मांग की।
मोदी का कड़ा रुख: “कल्पना से भी बड़ी सजा”
हमले के दो दिन बाद, 24 अप्रैल को, पीएम मोदी ने बिहार के मधुबनी में राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस के मौके पर पहली बार इस हमले पर सार्वजनिक रूप से बोला। उन्होंने कहा, “जिन्होंने ये हमला किया, उनके लिए मैं स्पष्ट कहता हूं कि उनकी कल्पना से भी बड़ी सजा मिलेगी। चाहे वो दुनिया के किसी भी कोने में छिपे हों, भारत उन्हें ढूंढकर सजा देगा।” इस बयान ने न सिर्फ देशवासियों का हौसला बढ़ाया, बल्कि पाकिस्तान को भी साफ संदेश दे दिया कि भारत अब बर्दाश्त नहीं करेगा।
मोदी सरकार ने तुरंत कई कड़े कदम उठाए। सबसे पहले, भारत ने पाकिस्तानी विमानों के लिए अपना एयरस्पेस बंद कर दिया। इसके बाद, अटारी-वाघा बॉर्डर को पूरी तरह सील कर दिया गया, ताकि कोई पाकिस्तानी नागरिक भारत में दाखिल न हो सके। 1960 की सिंधु जल संधि को निलंबित करने का फैसला भी लिया गया, जिससे पाकिस्तान में पानी का संकट गहरा गया। ये कदम दिखा रहे थे कि भारत अब सिर्फ सैन्य कार्रवाई नहीं, बल्कि कूटनीतिक और आर्थिक स्तर पर भी जवाब देगा।
ऑपरेशन सिंदूर: भारत का जवाब
7 मई 2025 को भारत ने “ऑपरेशन सिंदूर” के तहत पाकिस्तान और पीओके में आतंकी ठिकानों पर हवाई हमले किए। भारतीय वायुसेना ने मुजफ्फराबाद और अन्य इलाकों में आतंकी कैंपों को निशाना बनाया, जहां लश्कर-ए-तैयबा और TRF के कई बड़े कमांडर छिपे थे। खबरों के मुताबिक, इस ऑपरेशन में कई आतंकी ढेर हुए, जिनमें फारुख अहमद जैसे लश्कर के टॉप कमांडर भी शामिल थे। इस ऑपरेशन का नाम “सिंदूर” इसलिए रखा गया, क्योंकि आतंकियों ने पहलगाम में हिंदू महिलाओं के सिंदूर को निशाना बनाया था। ये नाम देश की उस भावना को दर्शाता है, जो अपने सम्मान और संस्कृति की रक्षा के लिए कुछ भी कर गुजरने को तैयार है।
सोशल मीडिया पर #OperationSindoor और #JaoModi ट्रेंड करने लगा। लोगों ने लिखा, “22 अप्रैल को आतंकियों ने कहा था जाओ मोदी को बता देना, और 7 मई को मोदी ने जवाब दे दिया!” एक यूजर ने लिखा, “ये नया भारत है, जो अब गालियां नहीं, गोलियां बरसाता है। जय हिंद!” इन ट्रेंड्स ने दिखाया कि देश की जनता न सिर्फ सरकार के इस कदम का समर्थन कर रही है, बल्कि उसे गर्व भी महसूस हो रहा है।
पाकिस्तान की बौखलाहट और दुनिया का समर्थन
पाकिस्तान ने इस हमले की निंदा की और कहा कि भारत ने “उकसावे की कार्रवाई” की है। लेकिन हकीकत ये थी कि पाकिस्तान खुद खौफ में था। पाकिस्तानी सेना ने पीओके में मेडिकल इमरजेंसी की ट्रेनिंग शुरू कर दी, और उनके पीएम शहबाज शरीफ ने यूनाइटेड नेशंस सिक्योरिटी काउंसिल से गुहार लगाई। लेकिन दुनिया ने भारत का साथ दिया। अमेरिका ने भारत के “आत्मरक्षा के अधिकार” का समर्थन किया, जबकि ब्रिटेन के पीएम कीर स्टारमर ने मोदी को फोन करके संवेदना जताई और हमले की निंदा की। इजराइल ने भी पहलगाम हमले को “आतंकवाद का नया चेहरा” बताते हुए भारत के साथ खड़े होने की बात कही।
देश में एकजुटता और गुस्सा
पहलगाम हमले के बाद देश में गुस्से और एकजुटता की लहर देखने को मिली। दिल्ली के व्यापारियों ने काली पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन किया, तो पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने शोक प्रस्ताव पास किया। बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने कहा, “पूरा देश पीड़ित परिवारों के साथ है।” यहां तक कि विपक्षी नेता तेजस्वी यादव और असदुद्दीन ओवैसी ने भी सरकार को समर्थन देते हुए कहा कि आतंकवाद के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए।
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने कहा, “धर्म पूछकर हत्या करने वाले राक्षस हैं। हिंदू ऐसा कभी नहीं करेंगे।” वहीं, सलमान खान जैसे सेलेब्स ने भी सोशल मीडिया पर हमले की निंदा करते हुए पीड़ितों के लिए दुख जताया। देश के हर कोने से एक ही आवाज उठ रही थी- आतंकवाद का खात्मा होना चाहिए।
आगे क्या?
पहलगाम हमले और भारत के जवाबी हमले ने एक बार फिर साबित कर दिया कि भारत अब कमजोर नहीं है। लेकिन सवाल ये है कि क्या ये कार्रवाई आतंकवाद की जड़ को खत्म कर पाएगी? विशेषज्ञों का मानना है कि जब तक पाकिस्तान आतंकवाद को अपनी नीति का हिस्सा बनाए रखेगा, तब तक ऐसी घटनाएं होती रहेंगी। भारत को अब न सिर्फ सैन्य, बल्कि कूटनीतिक और आर्थिक स्तर पर भी दबाव बनाए रखना होगा।
सोशल मीडिया पर लोग कह रहे हैं, “मोदी ने आतंकियों को बता दिया कि भारत अब सिर्फ बोलता नहीं, बल्कि करता भी है।” #JaoModi ट्रेंड ने दिखाया कि देश की जनता अपने पीएम पर भरोसा करती है। लेकिन साथ ही, ये भी जरूरी है कि पहलगाम जैसे हमले दोबारा न हों। इसके लिए कश्मीर में सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत करना होगा, ताकि पर्यटक बिना डर के वहां घूम सकें।
पहलगाम हमला एक दुखद घटना थी, जिसने देश को झकझोर दिया। लेकिन भारत के जवाब ने दुनिया को बता दिया कि हम अब चुप नहीं रहेंगे। “जाओ मोदी को बोल देना” का जवाब “ऑपरेशन सिंदूर” के रूप में मिला, और ये जवाब सिर्फ आतंकियों के लिए नहीं, बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक संदेश है। सोशल मीडिया पर ट्रेंड कर रहे #JaoModi और #OperationSindoor ने दिखाया कि देश एकजुट है और अपने शहीदों का बदला लेने के लिए तैयार है। जय हिंद!
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